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शिलचर, 18 अक्टूबर, शिवकुमार- शिलचर के आंबेडकर भवन में 18 अक्टूबर को असम चाय जनगोष्ठी जातीय महासभा की एक बड़ी सभा हुई। इस सभा का आयोजन बराक घाटी की आयोजक मंडली द्वारा किया गया था। सभा का मुख्य उद्देश्य कछाड़ जिले में चाय जनगोष्ठी जातीय महासभा की नई जिला कमेटी का गठन करना और बराक घाटी के तीनों जिलों—कछाड़, करीमगंज और हैलाकांडी—में संगठन को मजबूत करना था।
कार्यक्रम की शुरुआत और अतिथियों का स्वागत
सभा की अध्यक्षता संयोजक संतु री ने की। इस अवसर पर मुख्य अतिथि के रूप में ऊपरी असम चाय जनगोष्ठी जातीय महासभा के केंद्रीय सांगठनिक सचिव विश्व कुमार वाक्ति मौजूद थे। उनके साथ मदन सतनामी, दिनेश टोंगला, दिलीप तांती, राजकुमार सतनामी, अरुण मिर्धा और धीरेन तांती जैसे कई प्रमुख सदस्य भी शामिल हुए।कार्यक्रम की शुरुआत में अतिथियों को मंच पर बिठाया गया और दीप प्रज्वलन के साथ सभा का आरंभ हुआ। प्रदीप ताती ने स्वागत भाषण दिया, जिसके बाद विजय तांती और उनकी टीम ने पारंपरिक झूमर गीत प्रस्तुत किया, जिससे कार्यक्रम में सांस्कृतिक रंग भर गए।संगठन की मजबूती और समस्याओं पर चर्चा सभा में संगठन के विस्तार और बराक घाटी के चाय बागान श्रमिकों की समस्याओं पर विस्तृत चर्चा की गई। मुख्य अतिथि विश्व कुमार वाक्ति ने अपने संबोधन में चाय जनगोष्ठी समुदाय के इतिहास पर प्रकाश डाला। उन्होंने बताया कि ब्रिटिश काल में इन श्रमिकों को दूसरे राज्यों से असम लाया गया था और उनकी नियुक्ति किन-किन क्षेत्रों में हुई थी, इसका पूरा रिकॉर्ड महासभा के पास मौजूद है।
वाक्ति ने कहा कि वर्तमान में कुछ ऐसे लोग हैं जो असली चाय जनगोष्ठी समुदाय के नहीं हैं, लेकिन वे जातिगत प्रमाणपत्र और आरक्षण का अनुचित लाभ उठा रहे हैं। महासभा ने यह निर्णय लिया है कि अब से असली चाय जनगोष्ठी समुदाय के लोगों को ही संगठन द्वारा सत्यापित प्रमाणपत्र दिया जाएगा ताकि गलत लोग इन सुविधाओं का लाभ न उठा सकें। सभा में चाय बागानों में श्रमिकों की जमीनों पर हो रहे अतिक्रमण का भी मुद्दा उठाया गया। वाक्ति ने कहा कि कई बाहरी लोग चाय जनगोष्ठी श्रमिकों की जमीनों पर कब्जा करने की कोशिश कर रहे हैं, जो गलत है। महासभा इस अतिक्रमण के खिलाफ संघर्ष कर रही है और यह सुनिश्चित करेगी कि श्रमिकों की जमीन की सुरक्षा हो।कछाड़ जिला कमेटी का गठन सभा के दौरान कछाड़ जिले के लिए नई जिला कमेटी का गठन किया गया। इस कमेटी के पदाधिकारियों में शामिल हैं।
अध्यक्ष: प्रदीप तांती उपाध्यक्ष: बिमल चासा सचिव: जीतेन चंद्र बाउरी सह सचिव: मिथुन फूलमाली मुख्य सांगठनिक सचिव: किशोर रविदास सह सांगठनिक सचिव: सुदीप बोड़ाईक प्रचार सचिव: रामकृष्ण रिकियासन सह प्रचार सचिव: विश्वजीत धोबी,सांस्कृतिक सचिव: सीताराम दुसाध।सभी नव निर्वाचित पदाधिकारियों ने शपथ ली और अपनी जिम्मेदारियों का निर्वहन करने का वचन दिया।सभा में यह भी तय किया गया कि महासभा आने वाले दिनों में जागरूकता अभियान चलाएगी ताकि चाय जनगोष्ठी समुदाय के लोग अपने अधिकारों और जातिगत प्रमाणपत्र की महत्ता को समझ सकें। इसके साथ ही, महासभा चाय बागानों में हो रहे अतिक्रमण के खिलाफ आंदोलन तेज करेगी।मुख्य अतिथि विश्व कुमार वाक्ति ने कहा, हमारा उद्देश्य है कि हम चाय जनगोष्ठी समुदाय के लोगों को एकजुट करें और उनके अधिकारों की रक्षा करें। महासभा आने वाले दिनों में हर जिले में मजबूत संगठन का निर्माण करेगी। सभा का समापन नव निर्वाचित सदस्यों द्वारा शपथ ग्रहण के साथ हुआ। इस अवसर ने न केवल कछाड़ जिले में संगठन को नया नेतृत्व दिया, बल्कि चाय जनगोष्ठी समुदाय के अधिकारों और हितों की रक्षा के लिए संगठन की प्रतिबद्धता को भी और मजबूत किया।सभा के अंत में उपस्थित सदस्यों और अतिथियों ने आगामी रणनीतियों पर चर्चा की और संगठन को आगे बढ़ाने के लिए अपने संकल्प को दोहराया।