कोलकाता. वक्फ संशोधन कानून के खिलाफ देश के कई हिस्सों में विरोध प्रदर्शन तेज हो गया है, लेकिन सबसे गंभीर हालात पश्चिम बंगाल के मुर्शिदाबाद में देखने को मिले हैं. यहां सूती और शमशेरगंज इलाकों में हिंसा भड़क उठी. भीड़ ने कई गाडिय़ां फूंक डाली. हिंसक झड़प में करीब 10 पुलिसकर्मी घायल भी हो गए है. शुक्रवार दोपहर के वक्त हजारों की संख्या में प्रदर्शनकारी नमाज के बाद सड़कों पर उतर आए और नेशनल हाइवे-34 को पूरी तरह से जाम कर दिया. आज भी हनुमान जयंती को लेकर तनाव बना हुआ है.
पुलिस ने भीड़ पर आंसू गैस के गोले छोड़े
पुलिस ने जब सड़क से प्रदर्शनकारियों को हटाने की कोशिश की, तो उन पर पत्थरबाजी शुरू हो गई. हालात काबू में लाने के लिए पुलिस को आंसू गैस के गोले छोडऩे और लाठीचार्ज करना पड़ा. इसके बावजूद भीड़ उग्र होती गई और हिंसा कई इलाकों में फैल गई. शमशेरगंज के डाक बंगला मोड़ पर भीड़ ने पुलिस की गाडिय़ों को आग के हवाले कर दिया, पुलिस चौकी में तोडफ़ोड़ की और दुकानों, दोपहिया वाहनों को नुकसान पहुंचाया.
10 पुलिसकर्मी घायल, सीआरपीएफ तैनात
इस हिंसा में कम से कम 10 पुलिसकर्मी घायल हुए हैं. हालात को संभालने के लिए बहरामपुर और मालदा से अतिरिक्त पुलिस बल बुलाया गया, लेकिन जब तक फोर्स मौके पर पहुंची, तब तक काफी नुकसान हो चुका था. आखिरकार सीआरपीएफ को तैनात किया गया, जिसके बाद देर रात स्थिति पर नियंत्रण पाया जा सका.
भीड़ ने हाइवे को किया जाम
प्रशासन को शक है कि हिंसा पूर्व-नियोजित थी, क्योंकि लगभग एक ही समय पर दो अलग-अलग इलाकों में भीड़ जमा हुई और हाइवे को जाम किया गया. गौरतलब है कि इससे पहले भी मुर्शिदाबाद में वक्फ कानून को लेकर विरोध प्रदर्शन हो चुके हैं. फिलहाल इलाके में भारी सुरक्षा बल तैनात है और हालात पर नजर रखी जा रही है.