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मुख्यमंत्री डॉ हिमंत विश्व शर्मा ने कहा है कि अंतरराज्यी सीमा विवादों का स्थाई समाधान करना हमारी सरकार का लक्ष्य है। सीमा विवाद की वजह से सेवेन सिस्टर्स की जो भावनाएं हैं उन पर समय-समय पर प्रहार होता है। ये बातें मुख्यमंत्री डॉ शर्मा ने मंगलवार को राजधानी के खानापाड़ा कोईनाधारा पहाड़ स्थित एक नंबर गेस्ट हाउस में आयोजित एक सर्वदलीय बैठक को संबोधित करते हुए मंगलवार को कहीं। इस सर्वदलीय बैठक का आयोजन मुख्यमंत्री द्वारा असम मेघालय सीमा समझौते को लेकर दोनों ही राज्यों के बीच तैयार की गई रूपरेखा पर चर्चा करने के लिए बुलाई गई थी। बैठक के दौरान मुख्यमंत्री ने बताया कि असम और मेघालय के बीच विवादित 12 स्थानों में से छह स्थानों- हाहिम, गिजांग, ताराबाड़ी, बाखालापाड़ा, खानापाड़ा-पीलिंगकाटा तथा राताचेरा आदि इलाकों में सीमा समस्या के स्थायी समाधान के लिए रूपरेखा तैयार की गई है। इसके तहत दोनों ही राज्यों के प्रतिनिधियों के साथ असम सरकार की ओर से गठित तीन आंचलिक समितियों के प्रतिनिधियों की कई दौर की बातचीत हो चुकी है। इस मसले को लेकर दोनों ही राज्यों के मुख्यमंत्रियों के बीच भी कई बैठकें हो चुकी है।
आज की इस बैठक में मुख्यमंत्री के साथ मंत्री डॉ रनोज पेगू, अशोक सिंघल, विरोधी दल के नेता देवव्रत सैकिया, कई अन्य दलों के विधायक, मुख्य सचिव जिष्णु बरुवा, राज्य सरकार के कई पदाधिकारी तथा कांग्रेस, सीपीआई (एम), भारतीय जनता पार्टी, असम गण परिषद, एआईयूडीएफ, बीपीएस, यूपीपीएल समेत कई दलों के प्रतिनिधि इस बैठक में मौजूद थे।
बैठक के दौरान सीमा समझौते को लेकर तमाम प्रक्रियाओं के बारे में इन राजनीतिक दलों को सरकार द्वारा जानकारी दी गई। इस बैठक के बाद मुख्यमंत्री ने राज्य के विभिन्न छात्र एवं सामाजिक संगठनों के नेताओं को भी सीमा समझौते से संबंधित स्थितियों की अद्यतन जानकारी देने के लिए एक बैठक बुलायी।
इन बैठकों में विभिन्न दलों एवं संगठनों के प्रतिनिधियों ने सरकार को अपने-अपने सलाह दिए। मुख्यमंत्री ने कहा कि शीघ्र ही सीमा विवाद को निपटाने की कोशिशें की जा रही है।