विद्यारतनपुर, काछाड़ | 30 मई: सुबह विद्यारतनपुर एमई स्कूल में एक रहस्यमय और चौंकाने वाली घटना से पूरे इलाके में हड़कंप मच गया। रोज़ की तरह स्कूल की कक्षाएं सामान्य रूप से शुरू हुई थीं, लेकिन सुबह लगभग 11 बजे एक छात्रा ने अचानक अजीब व्यवहार करना शुरू किया। वह बेतरतीब ढंग से नाचने-झूमने लगी और फिर अचानक बेहोश होकर गिर पड़ी।
देखते ही देखते यह अजीब व्यवहार अन्य छात्राओं में भी फैलने लगा। महज 10 मिनट के भीतर करीब 20 छात्राएं एक जैसी हरकतें करते हुए बेहोश हो गईं। स्कूल में मौजूद छात्रों और शिक्षकों के बीच अफरा-तफरी मच गई।
इस घटना के बाद अफवाहें तेज़ी से फैलने लगीं कि स्कूल में “भूत-प्रेत का साया” है। डर और दहशत के माहौल में कई छात्र-छात्राएं स्कूल से भागने लगे। अभिभावकों को जैसे ही सूचना मिली, वे भी तुरंत स्कूल पहुँचने लगे।
स्थिति की गंभीरता को देखते हुए स्कूल प्रबंधन समिति के अध्यक्ष मौके पर पहुँचे और तत्क्षण स्कूल को अनिश्चितकाल के लिए बंद करने की घोषणा कर दी।
हालांकि, कई विशेषज्ञ और शिक्षाविद् इस रहस्यमय घटना को ‘जन सामूहिक उन्माद’ (Mass Hysteria) का परिणाम मान रहे हैं। उनका कहना है कि मानसिक तनाव, सामाजिक दबाव और अफवाहों के कारण इस तरह की घटनाएं विशेषकर किशोर छात्रों में देखी जाती हैं। वर्ष 2018 में भी एक अन्य स्कूल में इसी प्रकार की घटना दर्ज हुई थी।
वहीं, कुछ अभिभावक अपनी बेहोश हुई बेटियों को इलाज के लिए स्थानीय मौलवी या झाड़-फूंक करने वालों के पास ले जाते देखे गए।
फिलहाल, पूरे विद्यारतनपुर क्षेत्र में दहशत और कौतूहल का माहौल है। प्रशासन और स्वास्थ्य विभाग की ओर से कोई आधिकारिक बयान अब तक नहीं आया है, लेकिन स्थानीय सूत्रों के अनुसार, विशेषज्ञों की टीम को स्कूल में बुलाया जा सकता है ताकि घटना की तह तक पहुँचा जा सके।
क्या है ‘जन सामूहिक उन्माद’?
‘जन सामूहिक उन्माद’ एक मनोवैज्ञानिक स्थिति है जिसमें एक समूह के कई लोग बिना किसी शारीरिक कारण के एक जैसे लक्षण दिखाने लगते हैं — जैसे घबराहट, बेहोशी, चीखना, कांपना आदि। यह आमतौर पर तनाव, भय, अफवाह या सामाजिक दबाव की वजह से होता है।





















