शिलचर, 7 अक्टूबर:
विजया दशमी की रात शिलचर के उल्लासकर दत्त सरणी स्थित दुर्गा पूजा मंडप में ‘खिचड़ी वितरण’ को लेकर हुआ एक मामूली विवाद अब बड़ा रूप ले चुका है। इस घटना में जहां एक ओर स्थानीय युवती सुजेन पुरकायस्थ ने कुछ युवकों पर यौन उत्पीड़न और शारीरिक दुर्व्यवहार का आरोप लगाकर मामला दर्ज कराया था, वहीं अब उसी घटना को केंद्र कर उलटफेर दिखाई दिया।
सुजेन पुरकायस्थ की शिकायत पर पुलिस ने अरिंदम चौधरी, अनिर्बाण चौधरी, सुमित रॉय और देवतनु राहा नामक चार युवकों को गिरफ्तार किया था। लेकिन सोमवार को शिलचर जेल रोड सार्वजानीन दुर्गा पूजा समिति और उल्लासकर दत्त सरणी के स्थानीय निवासियों ने एक पलट मामला दर्ज करते हुए युवती के सभी आरोपों को “मनगढ़ंत और असत्य” करार दिया।
स्थानीय लोगों ने एक प्रेस वार्ता आयोजित कर कहा कि उल्लासकर दत्त सरणी एक शांतिप्रिय और सभ्य इलाका है। दशमी की रात खिचड़ी खाने की प्लेट हटाने को लेकर हुई मामूली बहस को लेकर युवती ने बवाल मचा दिया। उन्होंने आरोप लगाया कि सुजेन पुरकायस्थ ने मानसिक संतुलन खोकर उपस्थित लोगों के साथ अभद्र व्यवहार किया और माहौल को जानबूझकर तनावपूर्ण बना दिया।
पूजा समिति के पदाधिकारियों का कहना है कि जिन युवकों पर आरोप लगाए गए हैं, उनका इस विवाद से कोई लेना-देना नहीं है। उन्होंने पुलिस से मांग की है कि निर्दोष युवकों को तुरंत रिहा किया जाए और मामले की निष्पक्ष जांच की जाए।
स्थानीय निवासियों ने यह भी चेतावनी दी कि यदि सुजेन पुरकायस्थ और उसके परिवार के विरुद्ध कड़ी कार्रवाई नहीं की गई, तो वे आंदोलन करने के लिए बाध्य होंगे। उन्होंने प्रशासन से जल्द से जल्द इस पूरे मामले की सच्चाई सामने लाने और दोषियों के खिलाफ उदाहरणीय कदम उठाने की मांग की है।
– प्रेरणा भारती संवाददाता, शिलचर





















