लोहारबंद, 6 फरवरी (विशेष प्रतिनिधि): लोहारबंद में बरम बाबा व शिव मंदिर स्थानांतरण के पावन अवसर पर सात दिवसीय भागवत कथा, अखंड पाठ और पूजन-हवन का भव्य आयोजन संपन्न हुआ। इस धार्मिक अनुष्ठान में श्रद्धालुओं की भारी उपस्थिति देखी गई, जिससे पूरे क्षेत्र में आध्यात्मिक ऊर्जा का संचार हुआ।
मंदिर का नवनिर्माण और आध्यात्मिक अनुष्ठान
मुख्य यजमान निर्मल ग्वाला ने बताया कि यह मंदिर लगभग 50-60 वर्ष पुराना था और पहले छोटे स्वरूप में था। जब क्षेत्र के लोकप्रिय नेता मंत्री परिमल शुक्लवैद द्वारा सभा मंडप का निर्माण कराया गया, तब श्रद्धालुओं के सामूहिक प्रयास से मंदिर को भी भव्य स्वरूप प्रदान किया गया।
भागवत कथा का वाचन प्रसिद्ध कथा वाचक पंडित मनोज कुमार दुबे ने किया, जिनके ओजस्वी प्रवचनों ने भक्तों को आध्यात्मिक प्रेरणा दी। सात दिवसीय कथा के समापन पर पूर्णाहुति, अखंड रामायण पाठ, पूजन-हवन, भजन-कीर्तन और अन्य धार्मिक अनुष्ठान आयोजित किए गए। प्राण प्रतिष्ठा का पावन कार्य मुख्य पुरोहित पंडित रमाकांत मिश्रा के नेतृत्व में संपन्न हुआ।
भक्तों के लिए महाप्रसाद और मंदिर समिति का आभार
पूर्णाहुति के उपरांत श्रद्धालुओं के लिए महाप्रसाद का आयोजन किया गया, जिसमें बड़ी संख्या में भक्तों ने प्रसाद ग्रहण कर पुण्य लाभ अर्जित किया। आयोजन में पुरोहित अखिलेश तिवारी और अमरेश तिवारी भी विशेष रूप से उपस्थित रहे। इसके साथ ही, अमरेश तिवारी को मंदिर का स्थायी पुरोहित नियुक्त किया गया।
मंदिर संचालन समिति के अध्यक्ष सुब्रत चक्रवर्ती, उपाध्यक्ष मदन ग्वाला, सचिव प्रताप ग्वाला, सह-सचिव उत्तम सूत्रधर, कोषाध्यक्ष निर्मल ग्वाला और धर्मेंद्र तिवारी सहित समस्त आयोजकों ने इस शुभ अवसर पर सभी श्रद्धालुओं और सहयोगकर्ताओं का आभार व्यक्त किया। उन्होंने भगवान से सभी के सुख-समृद्धि और कल्याण की प्रार्थना की। आयोजन समिति के प्रमुख सदस्य दीपक ग्वाला और जय कमार आदि ने सक्रिय रूप से सहयोग किया।
यह आयोजन न केवल धार्मिक श्रद्धा का प्रतीक बना, बल्कि सामुदायिक समर्पण और संस्कृति के संरक्षण का भी उत्कृष्ट उदाहरण प्रस्तुत करता है।





















