जबलपुर. एमपी हाईकोर्ट ने अनूपपुर के भालूमाड़ा थाना के टीआई सहित 6 पुलिस कर्मियों पर एफआईआर करने के आदेश जारी किए है. आज हाईकोर्ट ने सुनवाई करते हुए कहा कि इस थाने के पूरे स्टाफ का ट्रांसफर 900 किलोमीटर दूर किया जाए. जिससे ये लोग जांच प्रभावित न कर सके. यदि तीन महीने के अंदर आदेश का पालन नहीं होता है तो डीजीपी के खिलाफ अवमानना की कार्रवाई की जाएगी. थानाप्रभारी सहित 6 पुलिस कर्मियो ंपर मोजर वेयर कंपनी के सुपरवाइजर के साथ मारपीट कर झूठा प्रकरण बनाने का आरोप है.
हाईकोर्ट जस्टिस जीएस अहलूवालिया की कोर्ट ने आरोपी पुलिसकर्मियों से 1 लाख 20 हजार रुपए जुर्माना वसूल कर पीडि़त को दिलाने के लिए कहा. प्रदेश के डीजीपी से कहा है कि अगर पूरे मध्यप्रदेश के थाने के हर कमरे में सीसीटीवी कैमरे नहीं लगाए तो 18 फरवरी 2025 को रजिस्ट्रार जनरल के जरिए अवमानना का नोटिस जारी किया जाएगा. अखिलेश की ओर से हाईकोर्ट में अधिवक्ता अभिषेक पांडे ने उनके केस की पैरवी की. उन्होंने बताया कि अखिलेश ने एसपी से भी शिकायत की थी. कोई नतीजा नहीं निकलने पर हाईकोर्ट में याचिका दायर की. जस्टिस जीएस अहलूवालिया ने इस मामले से जुड़े फुटेज देखे. आज सुनवाई के बाद 41 पन्नों का फैसला सुनाया. गौरतलब है कि मोजर बेयर कंपनी में अखिलेश पांडे सुपरवाइजर हैं. उनकी कंपनी के ट्रक राखड़ लेकर गांव से निकल रहे थे, गांववालों ने ट्रक रोक लिए. अखिलेश ने भालूमेड़ा थाने (अनूपपुर) में कॉल लगाया. थाने से आरक्षक मकसदून सिंह मौके पर पहुंचा. आरोप है कि उसने 5 हजार रुपए की घूस मांगी. कहा कि इसके बाद ही ट्रक आगे जाएंगे. अखिलेश व आरक्षक में विवाद हुआ. इस बात की जानकारी लगते ही थाना प्रभारी आरजे धारिया स्टाफ के साथ मौके पर पहुंचे. अखिलेश के साथ मारपीट की. इसके बाद आरक्षक मकसूदन ने खुद अपनी वर्दी फाड़ते हुए फर्जी केस बना दिया.
इनपर कार्यवाही के दिए आदेश-
-आरजे धारियाए भालूमाड़ा थाना प्रभारी
-प्रभाकर पटेल ASI
-रामहर्ष पटेल ASI
-कृष्णकांत तिवारी प्रधान आरक्षक
-मकसूदन सिंह आरक्षक
-स्वदेश सिंह चौहान आरक्षक