प्रे.स,बदरपुर” 25 May: जुबिली पुरकायस्थ ने करीमगंज सहित बराक का नाम रोशन किया। आज उनके नाम की चर्चा पूरे देश में हो रही है। देश के विभिन्न मीडिया में उनका नाम की चर्चा है। कोरोना मरीजों के इलाज के लिए
बनी २ डीजी दवा के नाम के साथ जुबली पुरकायस्थ का नाम जुड़ा हुआ है। करीमगंज महिषासन में मुख्य घर हैं जुबली का। वह लंगाई रोड पर अपनी मां के साथ किराये के घर में रहती थी। हेना भट्टाचार्य के घर पर। वह वर्तमान में डीआरडीओ की शाखा संगठन इंस्टीट्यूट ऑफ न्यूक्लियर मेडिसिन एंड अलाइड साइंसेज (INMAS) में वैज्ञानिक हैं। दवा के विकास में शामिल रक्षा अनुसंधान एवं विकास संगठन (डीआरडीओ) टीम के एक सदस्य महिषासन में देउतली के जुुबली पुरकायस्थ हैं। पता चला कि उन्होंने नब्बे के दशक में करीमगंज कॉलेज से बीएससी की डिग्री हासिल की थी और कॉलेज में टॉप किया था। संभवत: उन्होंने बायो साइंस में ऑनर्स किया था। जुबिली तब गुवाहाटी
विश्वविद्यालय में भर्ती हुआ।। रेजल्ट भी अच्छी तरह से आये। उन्हें पहले तेजपुर में नौकरी मिली। मजबूरन पढ़ाई के लिए घर बेचना पड़ा। और भी पता चला कि उनके पिता स्वर्गीय सुदर्शन पुरकायस्थ था। देउतली एलपी स्कूल में
पढ़ाई की। फिर पाथु हाई स्कूल में। उन्होंने १९९३ में माध्यमिक पास किया। कुछ दिन पहले जब दिल्ली में इस दवा की मार्केटिंग की गई तो वह रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह और केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री हर्षवर्धन के साथ थी। वह दवा के निर्माण में मुख्य भूमिका में थी।
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- Admin
- May 25, 2021
- 11:04 pm
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जुबिली पुरकायस्थ ने कोरोना की दवा बनाकर रोशन किया बराक का नाम
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