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किशन माला, शिलचर, 1 फरवरी: मालूम हो कि आज यानी शनिवार को असम यूनिवर्सिटी के लो डिपार्टमेंट की हाउस कीपिंग महिला कर्मचारी के पिता का पिछले कुछ दिनों से सिलचर मेडिकल कॉलेज अस्पताल में इलाज चल रहा है। इसी बीच कल यानि शुक्रवार को लो विभाग की महिला कर्मचारी काम पर गई और घर पर कोई नहीं होने के कारण वह अपने 14 वर्षीय भतीजे को भी काम पर ले गई।
जब मेडिकल कॉलेज से वहां जाने के लिए फोन आया तो महिला कर्मचारी अपने भतीजी को काम पर छोड़कर मेडिकल कॉलेज पहुंच गई। तभी एक विभाग का फारूक नाम का दूसरा कर्मचारी नाबालिग लड़की को क्लासरूम में ले गया और उसके साथ जबरदस्ती करने की कोशिश की।

किशोरी के चिल्लाने पर आसपास के लोग आए तो फारूक नाम का युवक भाग गया। जब मामले की जानकारी शिक्षकों को हुई तो उन्होंने इस बारे में बैठक की, लेकिन हैरानी की बात है! घटना सुलझने से पहले विश्वविद्यालय के प्रवेश द्वार पर सुरक्षा और सीसीटीवी कैमरे मौजूद होने के बावजूद फारूक यहां से कैसे भाग निकला? उसे प्रशासन को क्यों नहीं सौंपा गया?
शिकायतकर्ता को शक है कि ये हरकतें किसी की मदद से चल रही होंगी, नहीं तो फारूक किसी भी तरह बच नहीं पाता. वे इस संबंध में उचित निर्णय लेकर प्रशासन का ध्यान आकर्षित कर रहे हैं.
इसी का चलते आज असम यूनिवर्सिटी में धरने की आयोजन किया गया जिसमें मांग किया गया जल्द से जल्द अपराधी को पकड़ कर कड़ी से कड़ी सजा दी जाए। दूसरी ओर भतीजी के परिवार की तरफ से एक फिर भी किया गया है आरोपी को जल्द से जल्द गिरफ्तार करने के लिए। इस घटना के बाद असम विश्वविद्यालय के तरफ से आरोपी को निलंबित कर दिया गया है।




















