शिलचर, 10 अप्रैल: आज प्रेरणा भारती हिंदी दैनिक ने प्रेरणा भारती डिजिटल न्यूज़ नेटवर्क का शुभारंभ किया। शिलचर प्रेरणा भारती कार्यालय में आयोजित एक कार्यक्रम में विशिष्ट चाय उद्योगपति और समाजसेवी कमलेश सिंह तथा ज्योतिषाचार्य पंडित आनंद शास्त्री ने कंप्यूटर का बटन दबाकर प्रेरणा भारतीय डिजिटल न्यूज़ नेटवर्क का शुभारंभ किया।
दीप प्रज्वलन और अतिथियों के स्वागत सम्मान के पश्चात चैनल का उद्घाटन किया गया। उद्घाटन के पश्चात विभिन्न वक्ताओं ने प्रेरणा भारती के मुख्य संपादक दिलीप कुमार, संपादक श्रीमती सीमा कुमार और उनके टीम के प्रयासों की सराहना करते हुए कहा कि प्रेरणा भारती का ध्येय वाक्य है, “दीप है जलते रहेंगे हम प्रलय की आंधियों से अंत तक लड़ते रहेंगे।” प्रेरणा भारती ने इसे सार्थक किया है। दिलीप कुमार ने अपने प्रास्ताविक वक्तव्य में बताया कि 1998 में अनियतकालीन के रूप में शुरू हुई प्रेरणा भारती धीरे-धीरे मासिक, पाक्षिक, साप्ताहिक, अर्द्ध साप्ताहिक और दैनिक तक पहुंची। 6 मार्च 2016 से प्रेरणा भारती दैनिक के रूप में प्रकाशित हो रही है। प्रेरणा भारती का वेबसाइट और ईपेपर भी चल रहा है। अब हमने इलेक्ट्रॉनिक मीडिया की और कदम बढ़ाया है और प्रेरणा भारती डिजिटल न्यूज़ नेटवर्क के नाम से अपना चैनल शुरू किया है। सभी के सहयोग, आशीर्वाद और शुभकामनाओं से हमारा चैनल अपनी मंजिल तक अवश्य पहुंचेगा।
विभिन्न वक्ताओं में ज्योतिषाचार्य पंडित आनंद शास्त्री, मुख्य अतिथि कमलेश सिंह, प्रेस क्लब के सचिव शंकर दे, असम विश्वविद्यालय के अध्यापक प्रोफेसर पी के शुक्ला, विश्व हिंदू परिषद के प्रदेश अध्यक्ष अधिवक्ता शांतनु नायक, रिटायर्ड अभियंता और समाजसेवी प्रदीप गोस्वामी, हिंदीभाषी महिला मंच की अध्यक्षा डॉ रीता सिंह यादव, वरिष्ठ पत्रकार और समाजसेवी मणि भूषण चौधरी तथा हाइलाका़दी के युवा पत्रकार प्रीतम दास आदि ने दिलीप कुमार और सीमा कुमार के संघर्ष में कार्यों की मुक्त कंठ से प्रशंसा की और उत्साह वर्धन किया। सभी ने चैनल के उज्जवल भविष्य के लिए बधाइयां दी और शुभकामनाएं दी। चैनल की संपादक श्रीमती सीमा कुमार ने धन्यवाद ज्ञापन किया।
मुख्य अतिथि कमलेश सिंह जी ने कहा: दिलीप जी 1995 में जब यहाँ आए थे, तब उनके पास कुछ भी नहीं था, लेकिन उनके भीतर एक संकल्प और स्पष्ट दृष्टि थी कि उन्हें कुछ करना है। उन्होंने ‘प्रेरणा भारती’ के नाम से एक हिंदी न्यूज़ पत्रिका शुरू की, जो माँ भारती की प्रेरणा का प्रतीक है। इससे बेहतर नाम कोई नहीं हो सकता।
हम दिलीप जी को बराक घाटी के लिए भगवान का उपहार मानते हैं। उनके योगदान से यहाँ का राष्ट्रवादी और हिंदू समाज मजबूत हुआ है। कई घटनाओं में जब अन्य लोग चुप रहे, तब दिलीप जी ने आगे बढ़कर समाज को संगठित किया और लोगों को अपनी पहचान पर गर्व करना सिखाया।
आज भले कुछ लोग उनके योगदान को स्वीकारें या नहीं, लेकिन हमने अपनी आँखों से देखा है कि उनके प्रभाव से यह क्षेत्र बदला है। हमारा भी यहाँ आना एक यात्रा की तरह था—जैसे नदी का बहता जल, जो कब, कहाँ पहुँच जाएगा, किसी को नहीं पता। हम भी इस धरती से जुड़े, इसकी पीड़ा को समझा, और महसूस किया कि यहाँ के लोग अब भी बहुत पीछे हैं।
ज्योतिषाचार्य पंडित आनंद शास्त्री जी ने कहा: न जाने कितनी आंधियाँ आईं, न जाने कितने झंझावात आए, न जाने कितने तूफान आए। मैंने उन्हें इन तूफानों से लड़ते हुए देखा है, मैंने उन्हें आंधियों से जूझते हुए देखा है।
मैं जानता हूँ कि ‘धर्मक्षेत्रे कुरुक्षेत्रे’ केवल एक वाक्य नहीं, बल्कि एक संस्कृति है, एक चेतना है — और इस वाक्य का जो सार है, वह है: ‘यतो धर्मस्ततो जयः।हाँ, जहाँ धर्म होता है वहाँ विजय निश्चित होती है — किन्तु विलंब भी होता है। और उस विलंब की प्रतीक्षा में जो आनंद है, वह स्वयं प्राप्ति में नहीं होता।
हम दिलीप जी को साधुवाद देते हैं कि वे अपनी प्रतीक्षा को, अपने कर्म को और अपने संकल्प को निरंतर विस्तार दे रहे हैं। हमें विश्वास है कि आने वाला कल ‘प्रेरणा भारती’ को पूर्वोत्तर की आवाज़ बनाएगा — भक्ति का स्वर, संस्कृति का मंच बनाएगा।
प्रेस क्लब के सचिव शंकर दा ने आज दिलीप कुमार जी और उनकी पत्नी श्रीमती सीमा कुमारी को विशेष रूप से सम्मानित किया। उन्होंने दिलीप जी को एक निष्ठावान, संघर्षशील और ईमानदार व्यक्तित्व बताते हुए कहा कि वह न केवल पत्रकारिता में, बल्कि सामाजिक जीवन में भी एक प्रेरणादायी भूमिका निभा रहे हैं। श्रीमती सीमा कुमारी का आज जन्मदिन भी है, इस अवसर पर उन्होंने सभी की ओर से शुभकामनाएं प्रकट कीं।
उन्होंने कहा कि ‘प्रेरणा भारती न्यूज़ नेटवर्क’ और इससे जुड़े सभी साथी पत्रकारों का इस यात्रा में योगदान सराहनीय है। दिलीप जी 1991 से जो पत्रकारिता की यात्रा शुरू की थी, वह अब और भी विस्तृत और प्रभावशाली हो रही है। उन्होंने अपनी रीढ़ सीधी रखकर कई कठिनाइयों का सामना किया है, लेकिन कभी झुके नहीं।
शंकर दा ने इस बात को भी रेखांकित किया कि आज की पत्रकारिता में राजनीतिक हस्तक्षेप बढ़ता जा रहा है, लेकिन दिलीप जी ने निष्पक्षता के साथ अपनी भूमिका निभाई है। उन्होंने हर्ष जताया कि ‘प्रेरणा भारती’ के माध्यम से हिंदी भाषा में स्थानीय मुद्दों को जिस प्रकार सामने लाया जा रहा है, वह पूरे उत्तर पूर्व भारत के लिए एक महत्वपूर्ण योगदान है।
उन्होंने यह भी उल्लेख किया कि दिलीप जी की तीन बेटियां शिक्षा और संस्कार के क्षेत्र में रत्न हैं और उनके परिवार का समर्पण प्रेरणादायक है।
अधिवक्ता शांतनु नायक ने उद्घाटन समारोह में कहा कि ‘दीप में जलते रहेंगे, हम प्रलय की आंधियों से अंत तक लड़ते रहेंगे’ – यह पंक्ति दिलीप जी के व्यक्तित्व पर पूरी तरह फिट बैठती है। वे एक जुझारू और राष्ट्रवादी सोच वाले व्यक्ति हैं, जिन्होंने पिछले 27 वर्षों में ‘प्रेरणा भारती’ को एक विचारधारा का मंच बनाया। आज जब अधिकांश पत्रिकाएं राजनीतिक प्रभाव में काम करती हैं, प्रेरणा भारती निष्पक्ष राष्ट्रवादी पत्रकारिता का प्रतीक बनी हुई है। नए डिजिटल चैनल की शुरुआत से यह आवाज अब बराक घाटी से निकलकर पूरे नॉर्थ ईस्ट में गूंजेगी। हम सब मिलकर इसे आगे ले जाने का संकल्प लेते हैं। साथ ही, सीमा जी को जन्मदिन की ढेरों शुभकामनाएं – ईश्वर उन्हें, दिलीप जी को और उनकी तीनों बेटियों को उज्ज्वल भविष्य प्रदान करें।
कार्यक्रम में उपस्थित प्रमुख व्यक्तियों में राम नारायण नुनिया, श्रीमती फूलमती कलवार, श्रीमती उमा नुनिया, श्रीमती सुतपा चक्रवर्ती, श्रीमती नीलम गोस्वामी, डा. देवजीत देव, राजू दास, रत्नेश अग्रहरि, प्रमोद कुमार शाह, विकास कुमार, राजदीप आचार्य, पत्रकार रानू दत्त, चंद्रशेखर ग्वाला, शिवकुमार, रितेश नुनिया तथा कार्यालय प्रमुख विश्वजीत अधिकारी आदि शामिल थे।
प्रेरणा भारती डिजिटल न्यूज़ नेटवर्क को युटुब फेसबुक और विभिन्न सामाजिक माध्यमों पर देखा जा सकेगा। प्रातः कालीन स्थानीय समाचार पत्रों की सुर्खियां और रात्रि कालीन समाचार बुलेटिन प्रमुख रूप से चलाए जाएंगे।





















