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असम सरकार पर एक समुदाय को निशाना बनाने का भी लगाया आरोप
हाइलाकांदी, 23 जुलाई। राज्य में जारी उच्छेद अभियानों को लेकर हाइलाकांदी के वरिष्ठ अधिवक्ता और एडवोकेट बार एसोसिएशन के सदस्य बुरहान उद्दीन बरभुइया ने असम सरकार पर कड़ा हमला बोला है। बुधवार को बार एसोसिएशन कार्यालय प्रांगण में आयोजित पत्रकार सम्मेलन में बरभुइया ने कहा कि भाजपा सरकार द्वारा राज्य के विभिन्न हिस्सों में चलाया जा रहा उच्छेद अभियान पूरी तरह से गैरकानूनी और अमानवीय है।
उन्होंने कहा, “सुप्रीम कोर्ट के दिशानिर्देशों के अनुसार, उच्छेद अभियान शुरू करने से पहले प्रभावित लोगों के पुनर्वास की व्यवस्था अनिवार्य है। लेकिन सरकार बिना पुनर्वासन के लोगों को उजाड़ रही है, जो क्रूरता पूर्ण कार्य है।”
बरभुइया ने आरोप लगाया कि मुख्यमंत्री डॉ. हिमंत विश्व शर्मा ‘बांग्लादेशी हटाओ’ के नाम पर एक विशेष समुदाय को निशाना बना रहे हैं। उन्होंने कहा, “यदि किसी व्यक्ति की पहचान बांग्लादेशी के रूप में कानूनी प्रक्रिया के तहत होती है, तो उच्छेद उचित है। लेकिन किसी समुदाय विशेष को बांग्लादेशी बताकर उन पर अत्याचार करना पूरी तरह अमानवीय और असंवैधानिक है।”
वकील बरभुइया ने हाइलाकांदी जिले की भाजपा नेत्री और युवा मोर्चा के एक नेता द्वारा अल्पसंख्यक समुदाय के लोगों को बांग्लादेशी बताकर उच्छेद की मांग किए जाने को “बेबुनियाद और गैरकानूनी” करार दिया।
अंत में उन्होंने मीडिया के माध्यम से राज्य सरकार और जिला प्रशासन से मांग की कि पहले कानूनी तौर पर बांग्लादेशी की पहचान सुनिश्चित करें तथा प्रभावितों के पुनर्वास की उचित व्यवस्था के बाद ही कोई भी उच्छेद अभियान चलाया जाए।





















