फॉलो करें

बराक घाटी के प्रख्यात पत्रकार स्वर्गीय सनत कुमार कोइरी की छठी पुण्यतिथि मनाई गई

74 Views

शिलचर, 11 नवम्बर: बराक घाटी के सुप्रसिद्ध पत्रकार, साहित्यकार, सांस्कृतिक कार्यकर्ता एवं संघर्षशील नेता स्वर्गीय सनत कुमार कोइरी की छठी पुण्यतिथि के अवसर पर आज बराक चाय श्रमिक यूनियन के पदाधिकारियों द्वारा श्रद्धांजलि सभा आयोजित की गई।

कार्यक्रम की शुरुआत यूनियन के सहायक महासचिव रवि नूनिया, सहायक महासचिव एवं “श्रमिक” पत्रिका के संपादक बाबुल नारायण कानू, तथा सहायक संपादक दुर्गेश कुर्मी द्वारा दिवंगत नेता के चित्र पर पुष्पांजलि अर्पित कर की गई। इसके बाद यूनियन के अन्य पदाधिकारियों, कर्मचारियों तथा दिवंगत के दो सहयोगियों — “पूर्वश्री” पत्रिका की संपादक दुर्बा सेन और “द सिलचर टाइम्स” की संपादक सोनाली नाथ — ने भी उन्हें श्रद्धांजलि अर्पित की।

सभा को संबोधित करते हुए रवि नूनिया ने कहा कि सनत कुमार कोइरी हिंदी भाषी चाय श्रमिकों के साथ-साथ बंगाली भाषा और संस्कृति के प्रति भी समान रूप से सहानुभूतिपूर्ण थे। उन्होंने अपने लेखन और सक्रियता के माध्यम से दोनों समुदायों के बीच सौहार्द स्थापित करने का कार्य किया।

दुर्बा सेन ने कोइरी के साथ बिताए अपने लंबे कार्यकाल की यादें साझा करते हुए कहा कि उन्होंने बराक चाय श्रमिक यूनियन और चाय उद्योग के इतिहास को सहेजने में अमूल्य योगदान दिया। उन्होंने बताया कि सनत कोइरी का परिश्रम और समर्पण चाय श्रमिकों की आवाज़ को नई पहचान देने में महत्वपूर्ण रहा।

सोनाली नाथ ने कहा कि स्वर्गीय कोइरी सदैव समाज के जरूरतमंदों की सहायता के लिए तत्पर रहते थे। उनका जीवन सेवा, संघर्ष और समर्पण का प्रतीक था। समाज के लिए उनका सपना अधूरा रह गया, पर उनकी विचारधारा आने वाली पीढ़ियों के लिए प्रेरणास्रोत बनी रहेगी।

“श्रमिक” पत्रिका के संपादक बाबुल नारायण कानू ने अपने वक्तव्य में बताया कि हिंदी भाषी होते हुए भी सनत कोइरी ने बंगाली भाषा आंदोलन में सक्रिय भूमिका निभाई। उन्होंने भाषा आंदोलन, चाय उद्योग, बराक घाटी का इतिहास, सिलचर के क्षेत्रों के नामकरण, और ‘चारगोला एक्सोडस’ जैसी महत्वपूर्ण घटनाओं पर अमूल्य लेखन किया।

कानू ने बताया कि 1985 में असम समझौते के विरोध में आंदोलन के दौरान उन्हें झूठे मामले में फँसाकर गिरफ्तार किया गया था। वे एनआरसी विरोधी आंदोलन में भी सक्रिय रहे और सामाजिक-सांस्कृतिक संगठनों से निरंतर जुड़े रहे। उनके निधन से चाय श्रमिक समाज तथा हिंदी-बंगाली समुदाय को अपूरणीय क्षति पहुँची है।

श्रद्धांजलि सभा में यूनियन के सहायक महासचिव रवि नूनिया व बाबुल नारायण कानू, सह सचिव दुर्गेश कुर्मी, कार्यालय सचिव गिरिजा मोहन ग्वाला, सहित पीयूष कांति नाथबासंती चक्रवर्तीमधुमिता पटवानंद किशोर तिवारीसुभाष भक्तिविशुद्धानंद महतोजीशु देवप्रसाद कुर्मीमुन्ना रविदासरूपा सिंहशिवचरण रविदाससरल कर्मकारसुमन बरई आदि उपस्थित थे।

सभा के अंत में स्वर्गीय सनत कुमार कोइरी की पवित्र आत्मा की शांति हेतु एक मिनट का मौन रखा गया।

Share this post:

Leave a Comment

खबरें और भी हैं...

लाइव क्रिकट स्कोर

कोरोना अपडेट

Weather Data Source: Wetter Indien 7 tage

राशिफल