दुर्ग. छत्तीसगढ़ के बेमेतरा जिले में पुराने कुएं में जहरीली गैस का रिसाव होने से 3 लोगों की मौत हो गई. तीनों लोग बोर चेक करने के लिए कुएं के अंदर उतरे थे, लेकिन वहां से जिंदा नहीं लौटे. दुर्ग से पहुंची एसडीआरएफ की टीम ने तीनों शवों को कुएं से बाहर निकाला. पूरा मामला चंदनु थाना क्षेत्र के कुआं गांव का है.
एसडीआरएफ के मुताबिक गांव नवागढ़ तहसील से 10 किलोमीटर दूर स्थित है. यहां के पूर्व सरपंच परस साहू के खेत में एक पुराना कुआं है. उन्होंने खेत को गांव के आत्माराम साहू (55 साल) को अधिया में दे रखा था.
मिली जानकारी के मुताबिक कुएं में लगे बोर को फिट करने के लिए और उसकी केसिंग पाइप को बांधने के लिए आत्माराम 27 जुलाई की सुबह लगभग 11.30 बजे कुंआ में उतरा था, जो कुएं से वापस नहीं लौटा. 15 से 20 मिनट गुजर जाने के बाद भी जब वह बाहर नहीं आया तो पड़ोसी रामकुमार ध्रुव (45 वर्ष) और राकेश साहू (25 वर्ष) ने कुएं में झांककर देखा.
40 फीट गहरे कुएं में उतरी एसडीआरएफ की टीम
जिला सेनानी अग्निशमन अधिकारी नागेंद्र सिंह ने बताया कि सूचना मिलते ही उन्होंने टीम प्रभारी ईश्वर खरे, राजू महानंद, नरोत्तम, मोहन, राजेश नेताम, चंद्रप्रताप, हेमराज मेरावी, योगेश्वर, ओंकार और हबीब को वहां भेजा. उनकी टीम लगभग 40 फीट गहरे कुएं में उतरी और वहां से तीन लोगों के शव को बाहर निकाला. मृतकों में आत्माराम साहू पिता परदेशी साहू (55), राकेश साहू पिता बाबूलाल साहू (25), रामकुमार ध्रुव पिता रामलाल (45) है.
15 दिन पहले तक नहीं था गैस का रिसाव
लोगों ने बताया कि 15 दिन पहले इसी कुएं में पंप निकालने के लिए आत्माराम साहू उतरे थे, लेकिन उस समय गैस का रिसाव नहीं हुआ. पंप निकालकर वह सुरक्षित बाहर आ गए थे. अचानक 15 दिन बाद ना जाने ऐसा क्या हुआ कि कुएं से इतनी जहरीली गैस निकली की तीन लोगों की मौत हो गई.
कुछ सेकेंड के अंदर हुई उनकी मौत
कुआं पंचायत के पूर्व सरपंच परस साहू ने बताया कि आत्माराम और उसे बचाने के लिए उतरे दो अन्य की जान कुएं में उतरने के कुछ ही सेकंड के अंदर हो गई. घटना की खबर लगते ही तहसीलदार विनोद बंजारे, एडिशनल एसपी ज्योति सिंह समे पुलिस की टीम पहुंची थी. शव को पोस्टमार्टम के बाद परिजनों को सौंप दिया गया है.