शिलचर, 14 फरवरी: राजगिरि लेन, कटहल रोड निवासी 65 वर्षीय राधाकांत कोईरी का पिछले 13 फरवरी को अपरान्ह 3:00 बजे स्वर्गवास हो गया। मूल रूप से निबिया केकड़ागोल चाय बागान निवासी कमलाकांत कोईरी के छोटे भाई थे राधाकांत जी। रेलवे में राजभाषा अधिकारी से अवकाश ग्रहण करने के पश्चात राधाकांत जी ने राजगिरि लेन, कटहल रोड में घर बनाया और यही बस गए। उनकी एकमात्र बहन श्रीमती शांति कोईरी का विवाह पौदा में हुआ है।
वे अपने पीछे धर्मपत्नी श्रीमती इंदिरा कोईरी, तीन पुत्रियां सुनीता, सुप्रिया, शताब्दी और एक पुत्र अभिषेक सहित भरा पूरा परिवार रोता विलखता छोड़ गए। उनके निधन से आत्मीय स्वजन, परिचित और आसपास के इलाके में शोक छा गया। राधाकांत जी पिछले कुछ दिनों से बीमार चल रहे थे। एक हफ्ते पहले उन्हें एक निजी चिकित्सालय में भर्ती किया गया था। पिछले मंगलवार को चिकित्सकों के संपूर्ण प्रयास को व्यर्थ करते हुए उनकी आत्मा परमात्मा में विलीन हो गई। आत्मीय स्वजनों की उपस्थिति में मंगलवार को ही शिलचर श्मशान में उनका अंतिम संस्कार कर दिया गया।
उनके एकमात्र पुत्र अभिषेक ने बताया कि बहुत ही पारिवारिक व्यक्ति थे। सभी का बहुत ध्यान रखते थे, हर काम को बड़ी ही लगन से करते थे। शिलचर में घर बनाने में भी उन्होंने बहुत ही लगन और परिश्रम से काम किया था। उनके इस प्रकार चले जाने से परिवार का एक बहुत बड़ा सहारा चला गया।