अहमदाबाद। गेंद गुलाबी हो या लाल, पिच घुमाऊ हो या सामान्य, इंग्लैंड के बल्लेबाज लगातार पुरानी गलती दोहरा रहे हैं। वह गलतियों से सबक नहीं सीख रहे। ऐसा लग रहा है कि उनके दिमाग में स्पिन का भूत सवार हो गया है। वे सीधी गेंदों को भी स्पिन के लिहाज से खेल रहे हैं और आउट हो रहे हैं। यही नहीं, उन्होंने इस सीरीज में स्वीप शॉट खेलना लगभग बंद कर दिया है।
पहला टेस्ट जीतने के बाद चेन्नई में दूसरा और अहमदाबाद में तीसरा टेस्ट स्पिन ट्रैक पर हारने के बाद नरेंद्र मोदी स्टेडियम में चौथे मुकाबले में भी उनकी हालत खराब रही। टॉस जीतकर पहले बल्लेबाजी करने उतरी इंग्लिश टीम बढि़या पिच पर 205 रनों पर ऑलआउट हो गई। यह हाल तब था जब इंग्लैंड टीम एक अतिरिक्त बल्लेबाज के साथ उतरी थी। उसने तेज गेंदबाज स्टुअर्ट ब्रॉड और जोफ्रा आर्चर की जगह इस मैच में स्पिनर डॉम बेस और बल्लेबाज डेन लॉरेंस को शामिल किया। लॉरेंस ने 46 रन भी बनाए। भारत ने पहले दिन का खेल खत्म होने तक एक विकेट के नुकसान पर 24 रन बना लिए हैं। रोहित शर्मा आठ और चेतेश्वर पुजारा 15 रन बनाकर टिके हैं।
भारतीय टीम ने भले ही एक विकेट गंवा दिया है, लेकिन वह यहां पर अगले डेढ़ दिन तक बल्लेबाजी करके विपक्षी टीम को बड़ा लक्ष्य देना चाहेगी, जिससे उसे चौथी पारी में बल्लेबाजी नहीं करनी पड़े। भारतीय टीम चाहेगी कि वह पहली पारी में कम से कम 350 रन बनाए। भारतीय टीम अगर यह मुकाबला जीतती है या ड्रॉ भी करा लेती है तो पहली बार जून में इंग्लैंड के लॉर्ड्स मैदान में होने वाले विश्व टेस्ट चैंपियनशिप के फाइनल मुकाबले में पहुंच जाएगी। न्यूजीलैंड पहले ही फाइनल में पहुंच चुकी है।
सबकुछ पक्ष में होने के बावजूद इंग्लैंड की हालत खराब : गुरुवार की सुबह सबकुछ इंग्लिश टीम के पक्ष में था। कप्तान जो रूट ने अच्छी टीम चुनी, पहले दिन बल्लेबाजी के मुफीद दिख रही पिच पर टॉस जीता और भारत को गेंदबाजी के लिए बुलाया, लेकिन शाम होते-होते पास पलट गया। भारतीय स्पिनरों ने आठ विकेट लेकर उन्हें फिर बड़ा स्कोर नहीं बनाने दिया। अक्षर पटेल चार, रविचंद्रन अश्विन ने तीन और वाशिंगटन सुंदर ने एक विकेट लिया। पहले दिन गेंद आराम से बल्ले में आ रही थी, इसलिए भारत के तेज गेंदबाजों ने ज्यादा कुछ करने की जगह कुछ चुनिंदा स्पॉट पर ही गेंद को पटकना जारी रखा।
इसका फायदा मुहम्मद सिराज को मिला और उन्होंने दो विकेट लिए। भारतीय टीम ने इस मैच में जसप्रीत बुमराह की जगह सिराज को शामिल किया है। विराट को भी पता था कि उनके पास सिर्फ दो तेज गेंदबाज हैं, इसलिए उन्होंने इशांत शर्मा और सिराज को बहुत ही चतुराई से रोटेट किया। बाकी काम अक्षर और अश्विन की स्पिन जोड़ी ने कर दिया।
बेन स्टोक्स ने लगाया अर्धशतक : इसी मैदान पर तीसरे टेस्ट में 112 और 81 रन पर सिमटने वाली इंग्लैंड की टीम इस मैच में भी आत्मसमर्पण करती नजर आई। पिछले टेस्ट में 11 विकेट लेने वाले स्थानीय सितारे अक्षर को विराट ने छठे ओवर में ही गेंद थमा दी। पिछली दो पारियों में अपनी पहली ही गेंद पर विकेट चटकाने वाले इस स्पिनर ने यहां दूसरी ही गेंद पर विकेट लिया। उन्होंने छठे ओवर की दूसरी गेंद ‘आर्म बॉल’ फेंकी। हमेशा की तरह स्पिनरों के सामने परेशान रहने वाले डॉम सिब्ले (02) बोल्ड हो गए। इसके बाद जैक क्रॉले (08) मिड ऑफ में सिराज को कैच देकर लौटे। जो रूट (05) को सिराज ने शानदार इनस्विंगर पर पगबाधा आउट किया। पहले ही घंटे में इंग्लैंड का स्कोर तीन विकेट पर 30 रन था। ऐसा लग रहा था कि पिछले मैच का रीप्ले चल रहा हो।
भारत की बेहतरीन गेंदबाजी : विराट ने 20वें ओवर में अश्विन को गेंद सौंपी। दोनों छोर से स्पिनरों ने दबाव बनाना जारी रखा। दोनों को विकेट से टर्न और उछाल मिलने लगा। हालांकि इसके बाद बेन स्टोक्स ने टीम को संभालने की कोशिश की। उन्होंने 121 गेंद में पांच चौकों और दो छक्कों के साथ 55 रन बनाए। उन्होंने अश्विन और सुंदर की गेंद पर दो छक्के जड़े। सुंदर ने उन्हें पगबाधा आउट करके पवेलियन भेजा। जॉनी बेयरस्टो और स्टोक्स ने 48 रन की साझेदारी की।
बेयरस्टो 67 गेंद में 28 रन बनाकर सिराज का शिकार हुए। दोनों ने संयम और बेहतरीन फुटवर्क का इस्तेमाल करके दिखा दिया कि इस पिच पर बल्लेबाजी करना कठिन नहीं है। निचले क्रम के बल्लेबाजों में डैन लॉरेंस ने 46 रन बनाए, लेकिन अक्षर को आगे बढ़कर खेलने के प्रयास में चूके और रिषभ पंत ने उन्हें स्टंप आउट कर दिया। ओली पोप (29), बेन फोक्स (1) और जैक लीच (7) अश्विन का शिकार हुए।
भारत का लक्ष्य : शुभमन गिल लगातार तीसरे मैच में (00) में कुछ खास नहीं कर सके। पारी की तीसरी गेंद पर ही जेम्स एंडरसन ने उन्हें पगबाधा कर दिया। हालांकि इसके बाद रोहित और पुजारा ने कोई विकेट नहीं गिरने दिया। अब शुक्रवार की सुबह का सत्र महत्वपूर्ण होगा। अगर रोहित और पुजारा एंडरसन के शुरुआती कुछ ओवर निकाल लेते हैं तो फिर बल्लेबाजी कुछ आसान हो जाएगी।
इंग्लैंड के पास तीन मुख्य गेंदबाज एंडरसन, जैक लीच और डॉम बेस हैं। इसके अलावा ऑलराउंडर स्टोक्स और कप्तान रूट को गेंदबाजी करनी होगी। ऐसे में भारतीय बल्लेबाजों के पास ज्यादा रन बनाने का बेहतर मौका है। अगर भारतीय टीम दूसरे दिन के तीनों सत्र और तीसरे दिन के दो सत्र खेलने में कामयाब रहती है तो फिर इंग्लैंड के लिए यह मैच जीतना मुश्किल होगा क्योंकि तीसरे दिन पिच टूटने लगेगी और दरारों के बीच अंग्रेजों के लिए दूसरी पारी में बल्लेबाजी करना बहुत मुश्किल होगा।